कला को जिन्होंने जीवन दिया उन्हें कला के माध्यम से ही दी विदाई


कला की अंजुरी के साथ दी चित्रकार को श्रद्धांजलि

इंदौर।मशहूर चित्रकार प्रदीप कनिक का 13 अक्टूबर को अकस्मात निधन हो गया, उन्हें श्रद्धा सुमन देने जो पहुंचे उन्होंने एक अनूठे तरीके से इस कलाकार के प्रति सम्मान और अपनी भावनाएं व्यक्ति कीं. प्रदीप कनिक ने खुद तो कला के क्षेत्र में काफी काम कर नाम कमाया ही साथ ही कला जगत में नई ऊर्जा और नई प्रतिभा को लाने के लिए अनथक मेहनत की.


उन्होंने इस काम के लिए एक आर्ट एन हार्ट नाम की कला संस्था भी बनाई थी जो नए और संभावनाशील कलाकारों को जगह बनाने का मौका देती रही इसलिए जैसे ही उनकी अचानक मृत्यु के खबर लोगों तक पहुंची तो यह तय हुआ कि एक कलाकार को इससे बेहतर क्या श्रद्धांजलि होगी कि रंग, ब्रश और कैनवास से उनके प्रति भावनाएं व्यक्त की जाएं. तय समय पर जब उन्हें श्रद्धा के फूल चढ़ाने पहुंचे तो पास ही उपलब्ध  कैनवास पर मनचाहे रंगों और शब्दों को डालकर एक बहुरंगी रचना के साथ प्रदीप कनिक के प्रति अपना आदर जताया. उनकी बिटिया चानी ने अपने पिता के लिए अपनी भावनाएं उन्हीं के सिगनेचर ऑब्जेक्ट्स के साथ दी जिसमें घड़ी भी शामिल हैं. इस तरह की अनूठी आदरांजलि देने में कलाकार बिरादरी के जाने पहचाने वे नाम भी शामिल थे जिनके रंग कैनवास पर बिखरते रहे हैं लेकिन उससे भी बड़ी बात यह थी कि कैनवास पर अपनी भावनाएं उन लोगों ने भी ब्रश और रंगों से उकेरीं जिनका आज से पहले पेंटिंग की प्रक्रिया से वास्ता ही नहीं रहा.

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