मेरठ। 21 जून का दिन दुनिया के लिए नया नहीं है। दुनिया के 200 से अधिक देशों में 21 जून को योग दिवस के रूप में मनाया जाता है। देश की प्राचीन योग विद्या को दुनिया ने अपनाया है। योग के दिवस के लिए 21 जून का दिन ही क्यों चुना गया। क्योंकि यह दिन वर्ष का सबसा बडा दिन होता है। इस दिन सूर्य भगवान उत्तरायण से दक्षिणायन की तरफ आ जाते हैं। अब चार माह तक कोई शुभ काम नहीं होगा। यह चाह माह हमारे लिए अध्यात्मिक शक्ति संचय करने के लिए होते हैं। यदि हम दीर्घायु चाहते है तो वह केवल योग से ही संभव है। यह बात चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय और क्रीडा भारती द्वारा आयोजित पांच दिवसीय योग शिविर के दूसरे दिन आरएसएस के क्षेत्रीय शारीरिक प्रमुख नरेंश कुमार ने कही।
योग गुरू स्वामी कर्मवीर जी महाराज ने कहा कि हमें अपने अंदर सकारात्मक विचार को लाना चाहिए। यदि नकारात्मक विचार हमारे अंदर आ जाते हैं तो हम वैसे ही बन जाते हैं। इसलिए कहा भी जाता है कि हम जैसा विचार करते हैं वैसा ही हमारा शरीर भी बन जाता है। शारीरिक स्वास्थ्य के लिए योग का बहुत बडा महत्व है। जहां एक ओर दुनिया कोरोना जैसी महामारी से प्रभावित है। वहीं दूसरी ओर भारत में इसका बहुत कम प्रभाव है। क्योंकि हम प्रतिदिन योग का अभ्यास करते हैं। इसीलिए हमारी शरीर रोगों से लडने के लिए ज्यादा प्रभावकारी है। हमारी रोग प्रतिरोधक क्षमता अधिक है। उन्होंने कहा कि योग करने से कोरोना जैसी महामारी भाग जाएगी। श्वास क्रिया से योग का अभ्यास करना चाहिए।
योग शिविर का संचालन राजन ने किया। इस अवसर पर कुलपति प्रो0 नरेंद्र कुमार तनेजा, प्रति कुलपति प्रो. वाई विमला, कुलसविच धीरेंद्र कुमार वर्मा, प्रो0 वीरपाल, प्रो0 एके चैबे, प्रो0 भूपेंद्र सिंह, प्रो0 नवीन चंद्र लोहानी, प्रो0 आलोक कुमार, प्रो0 एसएस गौरव, प्रो0 नीलू जैन गुप्ता, डाॅ0 विवेक त्यागी, प्रेस प्रवक्ता मितेंद्र कुमार गुप्ता, प्रांतीय अध्यक्ष डाॅ0 संदीप त्यागी प्रांत मंत्री अनिल शर्मा, डाॅ0 प्रशांत कुमार, डाॅ0 ओमपाल शास्त्री, आदि मौजूद रहे।

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