चौधरी चरण सिंह विवि परिसर का सौंदर्यक करण देकर मन प्रसन्न हुआ -डॉ शिव रमन
कला और प्रौद्योगिकी का गहरा संबंध विषय पर विशेष व्याख्यान आयोजित
मेरठ।ललित कला विभाग, चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय में मलेशिया विश्वविद्यालय के अतिथि विद्वान डॉ. शिव रमन ऐश्वर्यन द्वारा कल और प्रौद्योगिकी का गहरा संबंध विषय पर विशेष व्याख्यान आयोजित किया गया। व्याख्यान में उन्होंने मानवीय संबंधों की विविध भावलीलाओ और चेतना, कला के माध्यम से उजागर होते हैं ।जो संस्कृति के रूप में उजागर हो , अग्रसरता हासिल करने में निपुणता प्राप्त कर लेते हैं ।
भारतीय कला वैज्ञानिक और तकनीकी आधार रखती हैं । दूसरी तरफ भाव और रस पूर्णता से समाहित होती हैं । डॉ. शिव रमन ऐश्वर्यन ने अपने व्याख्यान में कहा प्रौद्योगिकी ने कलाकारों को सोशल मीडिया, मेटावर्स और डिजिटल आर्ट प्लेटफ़ॉर्म के ज़रिए अपने दर्शकों से जुड़ने में मदद की है। लेकिन, कला में प्रौद्योगिकी की भूमिका सिर्फ़ यहीं तक सीमित नहीं है; यह इस बात को भी प्रभावित करती है कि हम कला के कामों का उत्पादन, उपभोग, शिक्षण, सीखना और सृजन कैसे करते हैं।
डेमोंसट्रेशन एवं ग्रुप डिस्कशन
व्याख्यान के पश्चात, डॉ. शिव रमन ऐश्वर्यन ने विद्यार्थियों को "प्रौद्योगिकीकरण द्वारा कला में नवाचार" विषय पर डेमोंसट्रेशन प्रदर्शन भी दिया। इसके बाद उन्होंने शिक्षकों और विद्यार्थियों के साथ ग्रुप डिस्कशन किया, जिसमें कला और तकनीक के परस्पर संबंधों पर विस्तृत चर्चा की। उन्होंने विद्यार्थियों से उक्त विषय पर प्रश्न उत्तर भी किये प्रश्नोत्तरी श्रृंखला में रिद्धिमा, युगांशी, खुशी को सही जवाब देने पर पुरस्कार भी प्रदान किया गया।
कार्यक्रम की संयोजिका प्रोफेसर अलका तिवारी समन्वयक, ललित कला विभाग ने अतिथि विद्वान का पुष्पगुच्छ और पटका भेंट कर सम्मान किया तथा उन्हें पारंपरिक लोक कला चित्र भी भेंट किए गए। डॉ. ऐश्वर्यन ने भविष्य में पुनः विभाग में आने की इच्छा व्यक्त की। विचारों का आदान-प्रदान अत्यंत प्रभावशाली रहा। इस अवसर पर विभाग के सभी शिक्षक एवं विद्यार्थी उपस्थित रहे।कार्यक्रम के आयोजन में डॉ. शालिनी धामा, डॉ. रीता सिंह, डॉ. पूर्णिया वशिष्ठ, मिस्टर खालिद, डॉ. संजय विष्णु तथा छात्र स्तर पर रिद्धिमा, खुशी, निशा, युगांशी, फैजा, नव्या, शुभम आदि का विशेष योगदान रहा।


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