होशियार सिंह की हत्या मामले में लोगों का प्रदर्शन
थाना भावनपुर, चौकी प्रभारी के खिलाफ नारेबाजी की
मेरठ। शुक्रवार को थाना भावनपुर क्षेत्र की जयभीम नगर चौकी में होशियार सिंह की हत्या मामले में स्थानीय लोगों ने कमिश्नरी पर प्रदर्शन किया। काफी संख्या में जयभीम नगर के लोग कमिश्नरी पहुंचे। वहां उन्होंने प्रदर्शन किया।साथ ही भावनपुर थाना प्रभारी, जयभीम नगर चौकी प्रभारी के खिलाफ मुर्दाबाद के नारे लगाए।
लोगों ने जयभीम नगर चौकी प्रभारी और भावनपुर थाना प्रभारी मुर्दाबाद के नारे लगाए। कहा कि हत्यारों को फांसी दो, फांसी दो ये नारे लगाए। प्रदर्शन करने आए श्यामवीर सिंह ने कहा कि हमारे होशियार सिंह को कुछ बदमाशों और उच्च लोगों ने हत्या कर दी।वो लोग उससे शराब पीने के लिए 200 रुपए मांग रहे थे। होशियार सिंह ने वो 200 रुपए देने से इंकार कर दिया। तो उन 6 लोगों ने मिलकर होशियार सिंह को इतना मारापीटा बहुत ज्यादा। इसमें इलाज के दौरान होशियार सिंह ने दम तोड़ दिया।कहा कि थाना भावनपुर ने 9 तारीख को कंप्लेट होने के बाद 18 तारीख को मुकदमा लिखा। जो गंभीर अपराध है। गरीब आदमी की बात को थाना सुनता नहीं है। हम चाहते हैं कि होशियार सिंह के परिवार को आर्थिक मदद दी जाए। आरोपियों को फांसी की सजा मिले।पूरे मामले में थाना और चौकी प्रभारी ने जिस तरह लापरवाही बरती वो पूरी लापरवाही है। जानलेवा हमले की तहरीर पर अस्पताल में तड़पते घायल की शिकायत पर पुलिसकर्मियों ने 9 दिन बाद मारपीट का मुकदमा लिख दिया। जबकि इलाज के दौरान 27 तारीख को होशियार सिंह की मौत हो गई। एसएसपी ने जब पूरे मामले पर संज्ञान नहीं लिया तो स्वयं डीआईजी ने थाना इंचार्ज और चौकी प्रभारी की प्रारंभिक जांच के आदेश दिए।
भावनपुर के जयभीमनगर स्थित प्रताप नगर निवासी 45 वर्षीय होशियार सिंह सफाई का कार्य करता था। कुछ समय पहले होशियार ने मोहल्ले के ही विकास से 500 रुपये उधार लिए थे। 300 रुपये लौटा दिए थे, लेकिन 200 बकाया थे। नौ जनवरी को विकास उर्फ विक्की उसके साथी दीपांशु उर्फ लाला, मनीष, जानसन और आदित्य ने 200 रुपये के लिए होशियार को जमकर पीटा था। घायल अवस्था में परिवार के लोगों ने होशियार सिंह को जिला अस्पताल में भर्ती कराया।
मामले की तहरीर भावनपुर थाने में दी गई। तब भी पुलिस न तो मौके पर पहुंची और न ही मुकदमा दर्ज किया गया। मामला अफसरों के संज्ञान में आने के बाद होशियार सिंह के स्वजन की तरफ से 18 जनवरी को मामूली मारपीट में मुकदमा दर्ज कर लिया, जबकि परिवार के लोगों ने जानलेवा हमले की तहरीर दी। फिर भी पुलिस मामले में गंभीर नहीं हुई।
21 जनवरी को दारोगा संजीव कुमार अस्पताल में होशियार सिंह के बयान लेने पहुंचे। तब जानलेवा हमले की धारा बढ़ाकर विकास के अलावा चार अन्य नाम उजागर किए। तब भी पुलिस ने आरोपितों के घर तक दबिश देने की जरूरत तक नहीं समझी। उसके बाद 27 जनवरी को होशियार सिंह ने उपचार के दौरान आखिरकार दम तोड़ दिया। तब भावनपुर पुलिस हरकत में आई। 28 जनवरी को मुकदमा हत्या में तरमीम किया गया। 29 जनवरी को मुख्य आरोपित विकास उर्फ विक्की, दीपांशु उर्फ लाला और मनीष को गिरफ्तार कर जेल भेजा गया।
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