बावासीर लाइलाज बीमारी नहीं ससमय उपचार कराने से बीमारी 
बवासीर लाइलाज बीमारी नहीं ससमय उपचार कराने से बीमारी छुटकारा मिल सकता है - डा . विनय 

 मेरठ में आयुर्वेदिक तर्ज पर खुला पहला बवासीर अस्पताल 

 मेरठ। पाइल्स यानी बवासीर बीमारी के मरीजों को अब उपचार कराने के आसपास के जिलों में नहीं जाना होगा। मेरठ में पहला आयुर्वेदिक दर्ज पर एक अस्पताल खुल गया है। जहां इस बीमारी से ग्रसित मरीजों को उपचार किया  जाएगा। 


 अस्पताल का शुभारंभ भाकियू मजदूर संगठन के राष्ट्रीय अध्यक्ष ठाकुर पूर्ण सिंह ने फीता काटकर किया। इस मौके पर अस्पताल के निदेशक डॉ विनय कुमार  ने बताया वर्तमान समय में बवासीर की बीमारी अधिक बढ़ गयी है। दस में से सात मरीज इस बीमारी से ग्रस्त है। उन्होंने बताया यह बीमारी महिलाओं के साथ पुरुषों में अधिकतर ग्रसित है।उन्होंने बताया अब तक वह 17 हजार मरीजों को इस बीमारी से छुटकारा दिला चुके है।  उन्होंने बताया उनके अस्पताल में आयुर्वेदिक तरीके से किया जाएगा। मरीज को अस्पताल में रूकने की आवश्यकता नहीं होगी। उन्होंने बताया उनकी ब्रांच रोहतक, पटियाला, पंचकुला पानीपत में सेवा दे रहे है। उन्होंने बताया एनसीआर के लोगों को उपचार कराने के काफी दूर जाना पड़ता था। इसी को देखते हुए उन्होंने अस्पताल खोला है। अस्पताल के खुलने से मेरठ ,हापुड़,बिजनौर,बागपत, गाजियाबाद, मुजफ्फर नगर के लोगों को इसका फायदा होगा। उन्होंने बताया प्रथम व द्वितीय ग्रेड का उपचार वह इंटरनल पाइल्स क्षार के माध्यम से करते है। यह पूरी तरह आयुर्वेदिक तरीके किया जाता है। उन्होंने बताया झोला छाप चिकित्सको के उपचार से बचे। उन्होंने बताया कि पाइल्स छोटी बीमारी है। जब इसके एप्लीकेशन होती तो बडे-बडे उपचार करने से मना कर देते है। 

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