जिले में संचारी रोगों के खिलाफ शुरू हुआ विशेष अभियान 

जागरुकता रैली को राज्यमंत्री ने दिखाई हरी झंड़ी

संचारी रोगों से बचाव हेतू स्कूलों में दिलाई गई शपथ, आगंनबाड़ी कार्यकर्ताओं ने लगाए स्टॉल

मुजफ्फरनगर। 1 अप्रैल 2023 

टाउन हॉल मैदान से संचारी रोग नियंत्रण अभियान और स्कूल चलो अभियान का शुभारंभ किया गया।  अभियान की शुरुआत राज्य मंत्री कपिल देव अग्रवाल ने हरी झंडी दिखाकर की जागरुकता रैली को रवाना किया। उन्होंने कहा कि संचारी रोग नियंत्रण अभियान का उद्देश्य आमजन को साफ सफाई के प्रति जागरूक करना है। मंत्री कपिल देव ने कहा कि प्रदेश सरकार का सर्व शिक्षा अभियान का उद्देश्य है। कि प्रदेश का एक-एक बच्चा स्कूल जाए और कोई भी बच्चा छूटे ना जो स्कूल ना जाए। इस दौरान स्कूल के बच्चे भी टाउन हॉल मैदान में मौजूद रहे। इस अभियान के तहत जहां घर-घर जाकर संचारी रोगों के प्रति जागरूकता फैलाई जा रही है वहीं इन रोगों को नियंत्रित करने के लिए जांच और तेज की जाएगी। संचारी रोग अभियान में आज संबंधित विभागों ने भाग लिया, स्कूलों में शपथ भी दिलाई गई, और आगंनबाड़ी कार्यकर्तताओं द्वारा जगह-जगह स्टॉल लगाकर जागरुक किया गया। 

राज्य मंत्री कपिल देव अग्रवाल ने बताया कि संचारी रोग नियंत्रण अभियान का उद्देश्य है कि प्रत्येक नागरिक स्वस्थ हो और साफ-सफाई के प्रति ध्यान दें। जिससे बच्चों का स्वास्थ्य ठीक हो, मोटा अनाज खाए, जिससे प्रत्येक नागरिक स्वस्थ हो।

मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ. महावीर सिंह फौजदार ने बताया कि जनपद में आज यानि एक अप्रैल विशेष संचारी रोग नियंत्रण अभियान शुरू हो गया है। यह अभियान 30 अप्रैल तक चलेगा। इस दौरान जनपदवासियों को वेक्टर जनित रोगों, जल जनित रोगों व लू आदि से बचाव व उपचार के बारे में जागरूक किया जाएगा। इसी बीच 17 अप्रैल से 30 अप्रैल तक दस्तक अभियान भी संचालित किया जाएगा। उन्होंने कहा कि संचारी रोगों की जांच के लिए अमूमन हर साल जांचें लक्षित रहती थी। जबकि अब इसकी क्षमता करीब दोगुनी दी गई। 

जिला मलेरिया अधिकारी अलका सिंह ने बताया कि जो बीमारी एक मरीज से दूसरे स्वस्थ व्यक्ति में दूषित भोजन, जल या संपर्क या कीटनाशक या जानवर से फैलती है उसे संचारी रोग कहते हैं। इसमें प्रमुख रूप से डेंगू, मलेरिया, चिकिनगुनिया, क्षय और कुष्ठ रोग आदि हैं। इन्हीं बीमारियों को नियंत्रित करने के लिए विशेष संचारी रोग चल रहा है। इस अभियान में स्वास्थ्य विभाग एक नोडल के रूप में कार्य कर रहा है जबकि अन्य विभागों को सहयोग करने की ज़िम्मेदारी दी गई है। साथ ही ग्रामीण व शहरी क्षेत्रों में सफाई के साथ लारवारोधी गतिविधियां और फागिंग भी कराई जा रही है। इस अभियान के तहत घर-घर सर्वेक्षण कर फ्लू, खांसी, बुखार के रोगियों व कुपोषित बच्चों की जांच की जाएगी। अभियान के दौरान आशा संगिनी, आशा और आंगनबाड़ी कार्यकर्ता प्रमुख भूमिका में घर-घर जाकर अभियान सफल बनाएंगी। उन्होंने बताया कि 25 अप्रैल को विश्व मलेरिया दिवस पर जिले में मलेरिया निगरानी में सुधार और वार्षिक रक्त परीक्षण दर 10 तक पहुंचाने का लक्ष्य है।

No comments:

Post a Comment

Popular Posts