एनएसवी स्पेशलिस्ट डा. जीपी मथूरिया ने की सभी नसबंदी

- एनएसवी के लिए तीन बार स्टेट अवार्ड ले चुके हैं डा. मथूरिया

- अंतराल दिवस पर जनपद में 24 महिलाओं ने भी कराई नसबंदी

 


गाजियाबाद, 05 मार्च, 2021। नसबंदी के मामले में अक्सर पीछे रहने वाले पुरुष भी अब अपनी जिम्मेदारी का अहसास करने लगे हैं। दो दिन में जनपद में हुईं 11 एनएसवी (पुरुष नसबंदी) कुछ ऐसा ही संदेश दे रही हैं। जनपद के एकमात्र एनएसवी स्पेशलिस्ट डा. जीपी मथूरिया ने यह नसबंदी की हैं। बता दें कि डा. मथूरिया एनएसवी के लिए तीन बार स्टेट अवार्ड जीत चुके हैं और उनकी गिनती देश में सबसे ज्यादा एनएसवी करने वाले सर्जनों में होती है। डा. मथूरिया का कहना है कि एनएसवी एक मामूली सी शल्य क्रिया है। इससे डरने की जरूरत नहीं है। एनएसवी कराने वाले पुरुष को बहुत ज्यादा दर्द होता हो, ऐसी भी कोई बात नहीं है। लोगों में एनएसवी को लेकर यह भ्रम है कि इसे कराने के बाद शारीरिक कमजोरी आ जाती है, यह बात बिल्कुल निराधार है।

डा. मथूरिया ने बताया बृहस्पतिवार को मुरादनगर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पर चार एनएसवी की गईं, और शुक्रवार को लोनी सामुदा‌यिक स्वास्थ्य केंद्र पर सात एनएसवी की गईं। उन्होंने कहा, हालांकि मानकों के हिसाब से यह बहुत कम है, लेकिन फिर भी इसे एक अच्छी शुरुआत कहा जा सकता है। बता दें कि बृहस्पतिवार को अंतराल दिवस के मौके पर जनपद में कुल 24 महिलाओं ने नसबंदी कराई। निसंदेह महिलाएं इस मामले में पुरुषों से कहीं आगे हैं। पुरुषों को भी परिवार नियोजन के मामले में अपनी भूमिका बढ़ाने की जरूरत है।
परिवार नियोजन कार्यक्रम के नोडल अधिकारी एसीएमओ डा. विश्राम सिंह ने बताया जनपद में हर बृहस्पतिवार को अंतराल दिवस मनाया जाता है। जैसा कि नाम से ही विदित है, अंतराल दिवस का मूल उद्देश्य दो बच्चों के बीच सुरक्षित अंतर रखने के लिए दंपति को जागरूक करना और उसके लिए जरूरी साधन उपलब्ध कराना है। इसके साथ परिवार नियोजन के स्थाई साधन उपलब्ध कराने के लिए हर बृहस्पतिवार को मुरादनगर और लोनी सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पर नसबंदी कैंप का भी आयोजन किया जाता है। बृहस्पतिवार को अंतराल दिवस के मौके पर पूरे जनपद में 24 महिलाओं ने नसबंदी कराई। केवल शहरी क्षेत्र में ही 50 महिलाओं ने गर्भनिरोधक इंजेक्शन “अंतरा” अपनाया। इसके अलावा 20 महिलाओं ने पीपीआईयूसीडी और 22 महिलाओं ने 22 आईयूसीडी अपनायी। बृहस्पतिवार को ही मुरादनगर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में चार एनएसवी हुईं, जबकि डा. जीपी मथूरिया ने सात एनएसवी लोनी सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में शुक्रवार को कीं।

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