हनुमान कथा पर यज्ञ का आयोजन
मेरठ। हनुमान कथा के छठे दिवस प्रातः 9.30से 12बजे पूर्ण आहुति के साथ यज्ञ का आयोजन किया गया ।
कथा व्यास अरविंद भाई ओझा ने यज्ञ का स्वरूप वर्णन करते हुए कहा कि यज्ञ तो भगवान का मुख है और यज्ञ में हम आहुति देकर भगवान के मुख में भगवान को भोजन कराते हैं, इसलिए यज्ञ सबसे बड़ा पुरुषार्थ कहलाता है क्योंकि यज्ञ करने के लिए व्यक्ति को कुछ ना कुछ कम करना पड़ता है और उसके आधार पर पुण्य कमाता है भारत की संस्कृति यज्ञ की संस्कृति है इसलिए जब भारत में चीनी नागरिक चीन से भारत की यात्रा पर आया था तो उसने कहा था कि मैं भारत कि जिस गली मोहल्ले से निकलता था मुझे यज्ञ की सुगंध और घरों से घंटियों की आवाजे आती थी लेकिन आज वह दृश्य भारत में बदल गया है ।हमको अपने घर में नित्य प्रति थोड़ा बहुत कुछ छोटा-मोटा यज्ञ आदिअवश्य करना चाहिए, इसी से भारत का कल्याण संभव है । यज्ञ से न केवल संस्कार बल्कि पर्यावरण भी सुधरता है।आज आचार्य कपिल एवं शिवजी मिश्रा ने वैदिक मंत्रों से यज्ञ पूर्ण कराया ।इस अवसर पर मुख्य यज्ञमान संजीव अग्रवाल,यजमान के रूप में संजीव गर्ग, मुकेश शर्मा, अंशुल गुप्ता, गौरव सिंघल, राजगोपाल कात्यान, मीडिया प्रमुख आलोक सिसौदिया, उत्तम सैनी,पायल अग्रवाल,मानसी पंकज, सुरेन्द्र कुमार, राजीव , देवेंद्र कुमार, आदि मौजूद रहें।
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