लेबनान में जंग रोकने से नेतन्याहू का इनकार
इजराइल का दावा-हिजबुल्लाह के ड्रोन चीफ को मार गिराया
हिजबुल्लाह ने राफेल बेस पर 45 रॉकेट दागे
यरुशलम/बेरूत,एजेंसी। इजराइल ने लेबनान में जंग रोकने से इनकार कर दिया है। इजराइली प्रधानमंत्री के कार्यालय ने गुरुवार को सोशल मीडिया पर इसकी जानकारी दी है। इसमें कहा गया है कि सीजफायर की रिपोर्ट्स गलत हैं। बेंजामिन नेतन्याहू के ऑफिस ने बताया है कि अमेरिका-फ्रांस की तरफ से जंग रोकने की मांग की थी। इसका नेतन्याहू ने जवाब नहीं दिया है।
इजराइल के मुताबिक पीएम नेतन्याहू की सलाह पर सेना पूरी ताकत से लेबनान में लड़ाई जारी रखेगी। वहीं, हिजबुल्लाह ने इजराइल के राफेल मिलिट्री फैसलिटी पर 45 रॉकेट दागे हैं। इससे कितना नुकसान पहुंचा है, इसका पता नहीं चल पाया है। पलटवार में इजराइली सेना बेरूत में हवाई हमले कर रही है।इजराइली इंटेलिजेंस की रिपोर्ट के मुताबिक हवाई हमले में हिजबुल्लाह की ड्रोन युनिट के कमांडर मोहम्मद सरूर समेत 2 लोगों की मौत हुई है।लेबनान की स्टेट मीडिया की रिपोर्ट में कहा गया है कि इजराइल ने लेबनान के यूनीन इलाके में गुरुवार को हमला किया। इसमें 23 सीरियाई लोगों की मौत हो गई। ये सभी लोग लेबनान में काम के लिए गए थे।इससे पहले न्यूयॉर्क में बुधवार को संयुक्त राष्ट्र महासभा में इजराइल-लेबनान जंग रोकने को लेकर एक आपातकालीन बैठक बुलाई गई थी। इसमें अमेरिका-फ्रांस ने 21 दिन के सीजफायर की मांग की गई थी। ताकि दोनों पक्षों के बीच जंग रोकने को लेकर बातचीत हो सके।ऑस्ट्रेलिया, कनाडा, सऊदी अरब, यूएई, कतर समेत कई यूरोपीय देशों ने सीजफायर की मांग का समर्थन किया था। बैठक में फ्रांस ने कहा था कि लेबनान में हो रही जंग को रोकना जरूरी है, वर्ना इससे मिडिल ईस्ट में जंग और बढ़ सकती है। कूटनीति से इसे रोका जा सकता है।
लेबनान में घुसपैठ की तैयारी में इजराइल
इजराइल, लेबनान में घुसपैठ की तैयारी में जुट गया है। रिपोर्ट के मुताबिक, इजराइल के मिलिट्री चीफ हर्जई हालेवी ने बुधवार को कहा कि लेबनान में उनके हवाई हमलों का मकसद हिजबुल्लाह के बुनियादी ढांचे को नष्ट करना और जमीनी घुसपैठ का रास्ता तलाशना है।हालेवी ने कहा कि इजराइली सेना, हिजबुल्लाह के इलाके में घुसेगी और उनकी सैन्य चौकियों को बर्बाद करेगी। तब उन्हें पता चलेगा कि इजराइली सेना का सामना करने का क्या मतलब होता है। उन्होंने कहा कि हिजबुल्लाह के हमलों के वजह से इजराइल के लोगों को घर छोड़ना पड़ा था। अब वे अपने घर लौट पाएंगे।
अमेरिकी राष्ट्रपति भले ही एक तरफ मिडिल ईस्ट में जंग रोकने की कोशिश कर रहे हैं मगर दूसरी तरफ अमेरिका, इजराइल को जंग में मदद के लिए घातक हथियार भी मुहैया कर रहा है। इन हथियारों की मदद से गाजा में 40 हजार से ज्यादा लोगों की मौत हो चुकी है। इसमें ज्यादातर महिलाएं और बच्चें हैं।
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