कोविड काल में चिकित्सकों ने निभायी जिम्मेदारी : सुनील देवधर
डॉ. आरबी पाठक ने कोविड काल में किया जागरूक
प्रभुनाथ शुक्ला
भदोही। भाजपा के राष्ट्रीय महामंत्री सुनील देवधर ने वाराणसी स्थित आईएमए में चिकित्सकों के बीच अपनी बात रखते हुए कहा कि आजादी के आंदोलन को कमजोर करने के लिए अंग्रेजों ने कांग्रेस का गठन किया। दुनिया में इस तरह की घटनाएं बहुत कम ही मिलती है जब वीर सावरकर की पुस्तक को छपने के पहले ही अंग्रेजों ने प्रतिबंध लगा दिया। नागरिक जिम्मेदारियां ही लोगों को बनाती हैं बड़ा। इस बात को लोगों को नहीं भूलना चाहिए।
सुनील देवधर आईएमए में माय होम इंडिया की तरफ से आयोजित 'आजादी का अमृत महोत्सव और नागरिक दायित्व' विषय पर अपने अपने विचार रख रहे थे। उन्होंने कहा आजादी और स्वतंत्रता में बहुत बड़ा फर्क है। देश में आजादी के आंदोलन को कुचलने के लिए कमजोर करने के लिए अंग्रेजों ने कांग्रेस का गठन कर एक साजिश रची थी। देश में उग्र होते स्वाधीनता आंदोलन को कमजोर करने के लिए कांग्रेस का गठन बातचीत का रास्ता निकालने के लिए किया गया था।
अंग्रेजों की तरफ से देश में लादी गई मैकाले शिक्षा पद्धति भारत को वैचारिक गुलामी की और धकेलने के लिए लागू की गई थी, क्योंकि इस शिक्षा परिषद से हम मूल भारतीय शिक्षा पद्धति कट गए।
सुनील देवधर ने आईएमए सभागार में मौजूद डॉ. राजेश्वर नारायण सिंह, डॉ अशोक राय, डॉ कार्तिकेय शर्मा और माय होम इंडिया के स्वतंत्र बहादुर की नागरिक जिम्मेदारियों के लिए विशेष उल्लेख करते हुए इन लोगों के सराहनीय योगदान को कोविड काल में बेहतर बताया।
भदोही से प्रतिभाग करने पहुंचे डॉक्टर आरबी पाठक की भी उन्होंने जमकर प्रशंसा किया। उन्होंने कहा डॉक्टर पाठक देश के एक आम नागरिक की भूमिका को किस तरह निभाया है वह कहने की बात नहीं है। डॉ. कोविड-19 महामारी के दौरान माय होम इंडिया के सहयोग से मुहिम चलाकर घर-घर पहुंच कोविड की जांच किया।
डॉ. पाठक ने बताया की मोनू दुबे के सहयोग से माय होम इंडिया के अथक प्रयास से यह सब सम्भव हुआ।
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