मेरठ
। कृषि विज्ञान विषय से स्नातक या डिप्लोमाधारी बेरोजगारोंं की परेशानी दूर करने का कार्य एग्री जंक्शन करेगा। प्रदेश सरकार ने इस वर्ष इसका जिलेवार लक्ष्य बढ़ाने के साथ ही अनुदान में भी बढ़ोतरी करने का निर्णय लिया है। गुणवत्तायुक्त बीज,उर्वरक,कीटनाशक और आधुनिक कृषि यंत्रों के लिए किसानों को काफी भटकना पड़ता है। एक दुकान पर बीज मिलता है तो कीटनाशक के लिए उसे दूसरी दुकान के चक्कर लगाने पड़ते हैं। कृषि यंत्रों के लिए उसे काफी दूर जाना पड़ता है। उनकी इस समस्या को दूर करने के लिए कृषि विभाग ने स्वावलंबन योजना के तहत एग्री जंक्शन के नाम से ब्लाकों में दुकान खोलने और 18 से 40 वर्ष तक कृषि या रसायन विज्ञान के बेरोजगारों को स्वरोजगार देने का निर्णय लिया है। कोरोना संक्रमण के चलते लगी रोक एक बार फिर हट गई है। जिले वार टारगेट का निर्धारण किया गया है। मेरठ समेत प्रदेश में एक हजार एग्री जंक्शन खोलकर युवाओं को स्वरोजगार देने की तैयारी है।

अनुदानित बीज और खाद का मिलेगा लाइसेंस वन स्टाप कम एग्री जंक्शन के नाम से ब्लाक स्तर पर खुलने वाली दुकानों के संचालन के लिए बीज, खाद कीटनाशक, कृषि यंत्रों की बिक्री का लाइसेंस दिया जाएगा। सरकार द्वारा निर्धारित अनुदान के साथ उत्पाद यहां मिलेगा। सामान्य वर्ग के लिए 18 से 40 वर्ष तक की आयु सीमा रखी गई है जबकि महिलाओं और अनुसूचित जाति के लिए अधिकतम उम्र 45 वर्ष रखी गई है। इच्छुक बेरोजगार नजदीकी विकास खंड या फिर जिला कृषि अधिकारी या उप कृषि निदेशक कार्यालय में योग्यता प्रमाण पत्र के साथ आवेदन कर सकते हैं।

3.50 लाख का मिलेगा लोन

 चयनित बेरोजगारों को चार लाख का प्रोजेक्ट तैयार कराया जाएगा। 3.5 लाख रुपये बैंक से लोन होगा। कृषि विभाग कुल ब्याज का तीन फीसद स्वयं वहन करेगा। एक साल का एक हजार रुपये महीने दुकान का किराया 50 हजार रुपये युवाओं को स्वयं लगाना होगा।

जिला कृषि अधिकारी प्रमोद सिरोही ने बताया कि स्वावलंबन योजना के तहत बेरोजगारों को स्वरोजगार का मौका मिलेगा। मेरठ सहित प्रदेश में एक हजार एग्री जंक्शन खोलने की सरकार की योजना है। एक ब्लाक में एक एग्री जक्शन खुलेगा। बड़े जिलों में दो खोले जाएंगे। कोरोना संक्रमण के बाद से आवेदन प्रक्रिया शुरू हो गई है। इच्छुक युवा अपने जिले के कृषि विभाग के कार्यालय से संपर्क कर सकते हैं।


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