विदेश में रहने वाली बेटी का पुलिस क्लीयरेंस सर्टीफिकेट भी अपने पते से हटवाया
लखनऊ/जौनपुर। भारतीय समाज में वैसे तो रोजाना ही बेटियों पर ममत्व, वात्सल्य, स्त्री-शक्ति, करुणा, देवी-दुर्गा-चंडी जैसी ढेर सारी, तरह-तरह की भावुक बातें होती रहती हैं लेकिन जैसे ही उनके हक-हिस्से की बात आती है, पूरी सोसाइटी के मुंह पर ताला लटक जाता है। सोसाइटी ही क्यों खुद का पिता और भाई ही मुंह मोड़ लेता है। ताजा वाकया हमारे समाज के कुछ इसी तरह के दोहरेपन की हकीकत को बयान करता है।
बार-बार न्यायालय और सरकारों की ओर से भी पहल होती आ रही है, लेकिन हमारी यूपी सरकार ने घोषणा की है कि वह अविवाहित बेटियों को उत्तराधिकार में हर स्तर पर बेटों के बराबर हक देने का कानून बना रही है। लेकिन बात वहीं की वहीं है। जौनपुर में भी एक ऐसा ही वाकया सामने आया है, जब मकान की लालच में को पिता ने खुद की बेटियों को न केवल बेदखल कर रहा है, बल्कि विदेश में रहने वाली अपनी लाडली का पता भी पुलिस क्लीयरेंस सर्टीफिकेट भी अपने पते से हटवा दिया। केवल इस डर से कि बेटी कहीं उनका मकान ही न कब्जा कर बैठे।
बाद में जब स्थिति की जानकारी हुई तो बड़ी बहन ने उक्त पीसीसी पर अपने आवासीय पता को दर्ज करवा कर मामले को संयोजित किया। हालत यह है कि पिता और पुत्रियों की आपसी लड़ाई यहीं तक नहीं रुकी। पुत्रियों ने अपने पिता के खिलाफ अदालत में मुकदमा भी कर रखा है। गौरतलब है कि तेलीबाग के वृन्दावन कालोनी में रह रहे पूर्व मुख्य गन्ना अधिकारी की पुत्रियों ने अपने ही पिता पर सिविल जज सीनियर डिवीजन जौनपुर के न्यायालय में परिवाद (संख्या 302/21) दाखिल कर लखनऊ व जौनपुर जनपद की सम्पूर्ण पैतृक सम्पत्ति को न बेचे जाने की मांग की है। बेटियों को डर था कि उनके पिता कहीं संपत्ति को बेंच न दें। सिविल जज के यहां मुकदमे का पता चलते ही बौखलाये पिता व उसके इकलौते बेटे ने मुकदमा दाखिल करने वाली वादिनी को जान से मारने और पूरा परिवार बर्बाद कर देने की धमकी तक दे डाली। इससे दुखी होकर वादिनी ने पुलिस आयुक्त लखनऊ व पुलिस अधीक्षक जौनपुर को प्रार्थनापत्र देकर अपने तथा पूरे परिवार के जान माल की सुरक्षा की गुहार लगायी है। उल्लेखनीय है कि उक्त पिता अपने पूर्वजों की बनाई गई 60-70 लाख की जमीन बिना बच्चों की सहमति के पूर्व में ही बेच कर अपने पुत्र को दे चुका है। पुत्रियों का यह भी कहना है कि उनके भाई की लत ठी नहीं है। वह संपत्ति को खुरद-बुर्द कर देगा। लिहाजा संपत्ति की सुरक्षा की जानी चाहिए।
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