देश की टाप 15 बिजली कंपनियों में यूपी रहा नदारद

लखनऊ - केन्द्र सरकार के ऊर्जा मंत्रालय द्वारा शुक्रवार को जारी 41 बिजली कम्पनियों की रेटिंग में उत्तर प्रदेश टाप 15 कंपनियों में स्थान बनाने में असफल साबित हुआ है।
ऊर्जा मंत्रालय द्वारा जारी रेटिंग गुजरात और हरियाणा की कंपनियों ने अव्वल रहकर ए प्लस ग्रेड हासिल किया है जबकि प्रदेश की दो बिजली कंपनियों ने ‘बी’ और दो ने ‘सी प्लस’ ग्रेड हासिल किया है वहीं पश्चिमांचल विद्युत वितरण निगम ने 50 से 65 अंक हासिल कर बी प्लस ग्रेड हासिल किया है। कानपुर इलेक्ट्रिसिटी सप्लाई कम्पनी (केस्को) और
मध्यांचल विद्युत वितरण निगम 35 से 50 अंक के साथ बी ग्रेड पर संतोष किया है। पूर्वांचल विद्युत वितरण निगम और
दक्षिणांचल विद्युत वितरण निगम ने 20 से 35 अंको के साथ सी प्लस ग्रेड हासिल किया है।
गुजरात और हरियाणा की बिजली कम्पनियां प्रथम स्थान पाकर ‘ए प्लस’ श्रेणी में 80 से 100 नम्बर के बीच पहुंची। देश की 41 सरकारी बिजली कम्पनियों की 9 वीं वार्षिक रेटिंग आज जारी की गयी है। उसमें 100 नम्बर मानकर अलग-अलग ग्रेड दिया गया है।
उप्र राज्य विद्युत उपभोक्ता परिषद के अध्यक्ष व राज्य सलाहकार समिति के सदस्य अवधेश कुमार वर्मा ने कहा कि प्रदेश की दो बिजली कम्पनियां थर्ड डिवीजन तीन सेकंड डिवीजन पास हुयी हैं। केन्द्र सरकार ने ग्रेडिंग का प्रमुख मानक एटीसी हानियों के लिये 28 नम्बर रखा गया है जबकि वित्तीय पैरामीटर के लिये 42 नम्बर है। कुल प्राप्तांक 100 नम्बर का है।
उन्होने कहा कि यूपी की बिजली कम्पनियां केन्द्र सरकार द्वारा तय की गयी ग्रेडिंग में अपेक्षित सुधार नहीं कर पायी है लेकिन कोरोना संकट के बाद भी बिजली कम्पनियो निचले पायदान से ऊपर की तरफ बढ़ी है अभी और तेजी से सुधार करने की जरुरत है ।

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