किंग जार्ज मेडिकल यूनिवर्सिटी (केजीएमयू) के एक डॉक्टर कोरोना की चपेट में आ गए
न्यूज प्रहरी24 लखनऊ । उत्तर प्रदेश में कोरोना वायरस से पीड़ित एक और मरीज मिला है। यूपी की राजधानी लखनऊ में एक डॉक्टर और नोएडा में एक युवक कोरोना वायरस की चपेट में आ गए हैं। इस मरीजों के मिलने के साथ ही यूपी में कुल १७ मरीजों में कोरोना वायरस पाया जा चुका है। इसमें से आगरा के तीन मरीज ठीक हो चुके हैं और अब कोरोना वायरस से संक्रमित १४ मरीज अस्पतालों में भर्ती हैं।
बुधवार को लखनऊ में कोरोना वायरस का तीसरा मरीज सामने आया। किंग जार्ज मेडिकल यूनिवर्सिटी (केजीएमयू) के एक डॉक्टर कोरोना की चपेट में आ गए हैं। रात में डॉक्टर को गेस्ट हाउस में आइसोलेट किया गया। इसके साथ ही उनकी टीम को भी आइसोलेट किया गया है। हालांकि टीम के अन्य डॉक्टरों की रिपोर्ट निगेटिव आई है। वहीं नोएडा के सेक्टर-४१ निवासी २६ वर्षीय युवक कोरोना पॉजिटिव पाया गया है। मरीज चार दिन पूर्व इंडोनेशिया से पत्नी के साथ घूमकर आया था। देर रात रिपोर्ट पॉजिटिव आने के बाद चिकित्सको ने उसे ग्रेटर नोएडा स्थित जिम्स में आइसोलेशन के लिए रखा है।
यूपी में आगरा के आठ मरीजों के अलावा नोएडा में चार, लखनऊ में तीन, गाजियाबाद में दो मरीजों में कोरोना वायरस पाया जा चुका है। मंगलवार को कोरोना वायरस से संक्रमित दो नए मरीज नोएडा में पाए जाने के बाद स्वास्थ्य विभाग ने बचाव के प्रयास और तेज कर दिए गए हैं। गौतमबुद्ध नगर के लिए विशेष क्लस्टर कंटेनमेंट प्लान तैयार किया गया है। इसके तहत स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों की टीमें बचाव व राहत के लिए सघन अभियान शुरू करेंगी।
अभी तक यूपी से कुल 875 संदिग्ध मरीजों के नमूने जांच के लिए भेजे जा चुके हैं और इसमें से 762मरीजों की रिपोर्ट निगेटिव आई है यानि इनमें कोरोना वायरस नहीं पाया गया। वहीं 98 संदिग्ध मरीजों की जांच रिपोर्ट अभी आना बाकी है।
संक्रामक रोग विभाग के संयुक्त निदेशक डॉ. विकासेंदु अग्रवाल ने बताया कि गौतमबुद्ध नगर के लिए विशेष क्लस्टर कंटेनमेंट प्लान तैयार किए जाने के साथ-साथ उन जिलों में जहां कोरोना वायरस के मरीज पाए गए हैं वहां विशेष अभियान चलाया जा रहा है। अभी तक आगरा में आठ मरीज जिसमें से तीन स्वस्थ्य हो चुके हैं, नोएडा में चार, लखनऊ में तीन, गाजियाबाद में दो मरीजों में कोरोना वायरस का पाया गया है।
सतर्क योगी सरकार
कोरोना वायरस से मुकाबले के लिए योगी सरकार ने कई अहम निर्णय किए हैं। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट की बैठक से पहले कोरोना वायरस की रोकथाम पर गहन विचार-विमर्श हुआ है। जनता को भीड़भाड़ से बचने की सलाह देते हुए तय किया है कि इन हालात में गरीब-मजदूरों को भरण-पोषण का खर्च सरकार ही उपलब्ध कराएगी। साथ ही सरकारी कर्मियों को भी सरकार वर्क फ्रॉम होम (घर से काम) की सुविधा देने जा रही है। मुख्य सचिव को इसकी व्यवस्था बनाने के निर्देश दिए हैं। वहीं, प्रदेश के सभी स्कूल-कॉलेज, शिक्षण संस्थान बंद करते हुए दो अप्रैल तक सभी परीक्षाएं (सीबीएसई और आइसीएसई छोड़कर) भी स्थगित कर दी हैं। इस अवधि में जनता दर्शन, समाधान दिवस, तहसील दिवस और धरना-प्रदर्शन पर भी रोक लगा दी गई है।
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