प्नधानमंत्री  सुरक्षित मातृत्व अभियान दिवस पर हुई 2432   गर्भवती की स्वास्थ्य जांच

 पूर्व जांच में  127  उच्च जोखिम गर्भावस्था वाली गर्भवती चिन्हित

मेरठ । प्रधानमंत्री सुरक्षित मात‍ृत्व अभियान गर्भवती महिलाओं के संजीवनी बनता जा रहा है। जनपद के 12 ब्लॉक की सीएचसी, जिला अस्पताल, मेडिकल कॉलेज में  प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान दिवस मनाया गया। इस दौरान स्वास्थ्य केंद्रों पर  2432 गर्भवती के स्वास्थ्य की जांच की गयी। जांच में 127  गर्भवती उच्च जोखिम गर्भावस्था वाली चिन्हित की गयीं।35 गर्भवती महिलाओं को सुक्रोज इंजेक्शन लगाए गये।  इन सभी को उच्च चिकित्सा केन्द्रों पर रेफर किया गया है। इस दौरान गर्भवती के अल्ट्रासाउंड भी किए गये।


मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ. अशोक कटारिया  ने बताया प्रदेश सरकार की योजना  प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान के तहत संस्थागत प्रसव को बढ़ावा देने और मातृ-शिशु मृत्यु दर को कम करने के उद्देश्य से जनपद में  प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान दिवस का आयोजन किया गया।  इस दौरान 2432 गर्भवती के स्वास्थ्य (ब्लड प्रेशर, ब्लड टेस्ट्, यूरिन टेस्ट्, हीमोग्लोबिन) की जांच की गयी, जिसमें127 गर्भवती उच्च जोखिम गर्भावस्था वाली मिलीं, उन्हें उच्च चिकित्सा केन्द्रों पर रेफर किया गया।35 गर्भवती को आयरन सुक्रोज इंजेक्शन दिया गया, इनमें खून की कमी पायी गयी थी।

एसीएमओ डा कांति प्रसाद  ने बताया - शासन की ओर से महिलाओं के कल्याण के लिए कई योजनाएं चलायी जा रही हैं। इन्हीं में जननी सुरक्षा योजना और प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना भी है। जननी सुरक्षा योजना में संस्थागत प्रसव कराने पर शहरी क्षेत्र में 1000 रुपये और ग्रामीण क्षेत्र में 1400 रुपये दिये जाते हैं। इसके अलावा प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना में पहली बार मां बनने पर दो किस्मों में पांच हजार रुपये दिये जाते हैं। इन योजनाओं की धनराशि लाभार्थी के बैंक खाते में सीधे ट्रांसफर की जाती है। बैंक में खाता नहीं होने के कारण कई बार महिलाओं को लाभ नहीं मिल पाता है, इसलिए विभाग ने बैंकों के माध्यम से जीरो बैलेंस पर खाता खोलने की व्यवस्था की है। इससे लाभार्थी को सीधा लाभ मिलेगा। उन्होंने बताया प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान दिवस पर लाभार्थियों की परिवार नियोजन के लिए भी काउंसलिंग की गयी

जिला सलाहकार मातृ स्वास्थ्य इलमा अजीम ने बताया- प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान दिवस पर दूसरी व तीसरी तिमाही की गर्भवती पर फोकस होता है। इसमें उच्च जोखिम गर्भावस्था वाली गर्भवती को चिन्हित किया जाता है। जांच कराने आयी आशा वशिष्ठ का कहना था सरकारी अस्पतालों में सुविधाएं बेहतर हो गयी हैं। इसका लाभ सीधे मरीजों को मिल रहा है।

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