स्वस्थ जीवन के लिए योग जरूरी- कुलपति मेजर जनरल डॉ. जी.के.थपलियाल

सुभारती विश्वविद्यालय में हर्षोल्लास के साथ मनाया गया 10 वां अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस

योग एवं प्राकृतिक चिकित्सा से हर रोग का उपचार सम्भव - डॉ.अभय शंकरगौड़ा

मेरठ। स्वामी विवेकानन्द सुभारती विश्वविद्यालय में अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस का भव्य आयोजन किया गया। योग दिवस के कार्यक्रम को महर्षि अरबिन्दों सुभारती कॉलिज एण्ड हॉस्पिटल ऑफ नेचुरोपैथी एण्ड योगिक साइंसेज के द्वारा विश्वविद्यालय के आईक्यूएसी, एनसीसी, राष्ट्रीय सेवा योजना (एनएसएस) प्रकोष्ठ, के संयुक्त तत्त्वावधान में आयोजित किया गया।

इसके साथ ही
विश्वविद्यालय के सभी संकाय व विभाग में योग दिवस पर उत्साह देखने को मिला।प्रातः 06ः30 बजे योगा हॉल में विश्वविद्यालय के एनएसएस के स्वयंसेवक, एनसीसी कैडेट्स के साथ विद्यार्थियों, शिक्षकों व समस्त कर्मचारियां ने इस वर्ष की योग दिवस की थीम 'स्वयं और समाज के लिए योग' के साथ योग किया।

सुभारती विश्वविद्यालय के कुलपति मेजर जनरल डॉ. जी.के.थपलियाल ने 10 वें अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस पर सभी को शुभकामनाएं दी। उन्होंने कहा कि स्वस्थ तन-मन के लिए योग जरूरी है। कुलपति ने कहा कि योग से हमें शारीरिक व मानसिक एकाग्रता प्राप्त होती है। उन्होंने कहा कि हमारे ऋषियों द्वारा किये गये हजारों वर्ष के परिश्रम को भारत सरकार के माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी ने मानव कल्याण हेतु योग को वैश्विक स्तर पर मान्यता दिलाई है। उन्होंने छात्र-छात्राओं और विश्वविद्यालय के शिक्षकों को नियमित योग करने का संकल्प दिलाया।

सुभारती विश्वविद्यालय की मुख्य कार्यकारी अधिकारी डॉ. शल्या राज ने अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस पर अपनी शुभकामनाएं प्रेषित की। उन्होंने कहा कि योग भारतीय संस्कृति की पहचान है और पूरे विश्व को स्वास्थ्य की अनमोल देन है। उन्होंने कहा कि देश के विकास में उत्तम स्वास्थ्य की महत्वपूर्ण भूमिका होती है और योग से हमें मानसिक व शारीरिक लाभ मिलता है। इसलिए सभी को नियमित योग करना चाहिए।

महर्षि अरविंदो सुभारती कॉलिज एंड हॉस्पिटल ऑफ नेचुरोपैथी एंड यौगिक साइंसेज के प्राचार्य डॉ. अभय शंकरगौड़ा ने कहा कि योग से तनाव अनिंद्रा, हृदय एवं विभिन्न प्रकार की बीमारियों को रोकथाम करके स्वस्थ जीवन जीने की कला आती है। उन्होंने कहा कि योग एवं प्राकृतिक चिकित्सा आज के समय में सबसे ज्यादा विश्वसनीय एवं लाभकारी है। योग के माध्यम से बड़ी से बड़ी गंभीर बीमारियों का इलाज किया जा सकता है तथा योग एवं प्राकृतिक चिकित्सा के क्षेत्र में छात्रों के लिए रोजगार की अपार संभावनाएं भी है। उन्होंने बताया कि योगा कॉलिज में प्राकृतिक चिकित्सा व योग के सम्बन्ध में बीएनवाईएस कोर्स संचालित है। इसके माध्यम से विद्यार्थियों का ज्ञान वर्धन किया जा रहा है।

उन्होंने बताया कि सुभारती विश्वविद्यालय में योग माह मनाया जा रहा है। इसी क्रम में 10 जून से अब तक लगभग पांच हजार लोग योग से लाभान्वित हो चुके है। योगा कॉलेज के द्वारा एमबीबीएस व नर्सिंग के विद्यार्थियों हेतु योगा व ध्यान सत्र आयोजित किया गया। इसके साथ ही विभिन्न कॉलेज व बाहर के स्कूल में सुभारती योगा कॉलेज के विशेषज्ञों ने योग कराया।

 शारीरिक शिक्षा विभागाध्यक्ष और एनसीसी प्रभारी  डॉ. संदीप कुमार ने विद्यार्थियो को योग के लाभ बताए। उन्होंने कहा कि मानसिक तनाव को योग साधना से दूर किया जा सकता है। योग से तन और मन दोनों स्वस्थ होते है, इसके लिए विद्यार्थियों को नियमित योग करना चाहिए। 

इस अवसर पर राष्ट्रीय सेवा योजना(एनएसएस) प्रकोष्ठ द्वारा आयोजित पोस्टर मेकिंग प्रतियोगिता के पोस्टर की प्रदर्शनी भी लगाई गई थी।डॉ. नीरज नयन ऋषि, सहायक प्रोफेसर,वीएनवाईएस ने योग शिक्षक की भूमिका निभाई।इस अवसर पर कुलसचिव एम. याकूब, यौगिक साइंसेज के प्राचार्य डॉ. अभय शंकरगौड़ा, एनसीसी प्रभारी डॉ. संदीप कुमार, एनएसएस के कार्यक्रम समन्वयक डॉ.एससी थलेडी, डॉ पंकज, एनएसएस के कार्यक्रम अधिकारी शिवानी भदौरिया, रामप्रकाश तिवारी, डॉ. नेहा सिंह, डॉ.उमेश कुमार, डॉ. अभिजीत के.बी. आदि शामिल रहे। कार्यक्रम में विश्वविद्यालय के पदाधिकारी, एनएसएस स्वयंसेवक, एनसीसी कैडेट्स समेत शिक्षकगण एवं विद्यार्थी उपस्थित रहे।

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