आतंकी वलीउल्लाह को उम्रकैद की सजा
वाराणसी में हुए सीरियल ब्लास्ट मामले में शामिल थालखनऊ।
आतंकी वलीउल्लाह को लखनऊ की एनआईए कोर्ट ने दो अलग-अलग मामलों में उम्रकैद की सजा सुनाई है। साथ ही 10 हजार का जुर्माना भी लगाया है। बुधवार को एनआईए कोर्ट के विशेष न्यायाधीश विवेकानंद शरण त्रिपाठी ने उसे 2006 में वाराणसी में हुए सीरियल बम ब्लास्ट और विस्फोटक बरामदगी के मामले में भी दोषी करार दिया था।
डीजीसी एमके सिंह ने बताया कि पहला मामला वाराणसी में 2006 में हुए सीरियल ब्लास्ट में शामिल होने और दूसरा मामला आरडीएक्स, डेटोनेटर एवं फैक्ट्री मेड विदेशी पिस्टल के साथ पकड़े जाना का है। आरोपी को 5 अप्रैल 2006 को वाराणसी के भेलूपुर तत्कालीन क्षेत्राधिकारी पीएन त्रिपाठी ने लखनऊ के गोसाईंगंज थाना क्षेत्र से गिरफ्तार किया था। गिरफ्तारी के समय वलीउल्ला से फैक्ट्री मेड पिस्टल, जिंदा कारतूस के अलावा डेढ़ किलो आरडीएक्स मिला था।
पुलिस की पूछताछ में वलीउल्ला ने बताया था कि बनारस मजहबी जगह है, उसका इरादा था कि दिल्ली की तरह होली त्योहार के पहले बम विस्फोट कर दहशतगर्दी की जाए। ताकि वहां के मुसलमानों के दिलों में ठंडक पहुंच सके। कोर्ट को बताया गया कि आतंकी ने साथियों के साथ प्लान के मुताबिक 3 मार्च 2006 की रात 10 बजे फूलपुर आया और उन लोगों ने किराए के मकान में बांग्लादेशी आतंकियों को रुकवाया।
जिसके बाद 4 मार्च को सुबह बनारस जाकर बम विस्फोट के लिए मंदिर की शक्ल में बने रेलवे स्टेशन, संकट मोचन मंदिर और दशाश्वमेध घाट को टारगेट के लिए तय किया।
राजेश चंद्र शर्मा ने बताया कि 7 मार्च 2006 को सीरियल बम धमाके में 18 लोग मारे गए थे और करीब 76 लोग घायल हुए थे। 5 अप्रैल 2006 को पुलिस ने इस मामले में प्रयागराज जिले के फूलपुर गांव निवासी वलीउल्लाह को गिरफ्तार किया। हाईकोर्ट के आदेश पर इस केस की सुनवाई वाराणसी से गाजियाबाद कोर्ट में ट्रांसफर हुई थी।


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