आईआईएमटी एल्यूमनाई मीट ‘समागम-2023’ में झूमे छात्र-छात्राएं

- आईआईएमटी विश्वविद्यालय में वैभव वशिष्ठ के ‘याद आते हो’ गाने पर देर रात तक थिरके युवा
- एक दूसरे से मिलकर बीते दिनों की यादों में खो गये पुरातन छात्र
मेरठ। आईआईएमटी विश्वविद्यालय में शनिवार को आयोजित एल्यूमनाई मीट “समागम-2023” में देश-विदेश से आये पुरातन छात्रों के साथ वर्तमान छात्र झूमते नजर आये। प्रत्येक वर्ष की भांति आयोजित स्टार नाइट में प्रसिद्ध गायक वैभव वशिष्ठ के गानों पर देर रात तक नाचते-थिरकते युवाओं की ऊर्जा ने स्टार नाइट में चार चांद लगा दिए। एक दूसरे से मिलकर बीते दिनों की यादों में खो गये पुरातन छात्रों ने इस दिन को यादगार बताते हुए शानदार आयोजन के लिये आईआईएमटी विश्वविद्यालय का आभार व्यक्त किया।
आईआईएमटी विश्वविद्यालय में पुरातन छात्रों के सम्मान मेें एल्युमनाई मीट समागम- 2023 का आयोजन किया गया। कार्यक्रम का शुभारंभ आईआईएमटी विश्वविद्यालय के कुलाधिपति योगेश मोहनजी गुप्ता,  सौरभ गुप्ता प्रति कुलाधिपति डा. मयंक अग्रवाल,  पियांशु अग्रवाल, कुलसचिव डॉ वी पी राकेश, प्रधानाचार्य आर बी सिंह ने दीप प्रज्जवलित कर किया। इसके बाद काॅलेज बैंड राफ्ता ने मधुर स्वर लहरियों से समां बांध दिया। वहीं सामूहिक नृत्य की प्रस्तुति ने सभी को झूमने पर मजबूर कर दिया। मिस्टर एंड मिस एल्युमनाई प्रतिस्पर्धा में रैंप पर चलते प्रतिभागियों ने सभी को मंत्रमुग्ध कर दिया। 



इसके बाद प्रसिद्ध गायक वैभव वशिष्ठ ने अपनी आवाज का जादू बिखेरना शुरू किया तो माहौल हसीन हो गया। वैभव वशिष्ठ ने याद आते हो... गाकर सभी का दिल जीत लिया। वैभव वशिष्ठ द्वारा मधुर गीतों की प्रस्तुतियों के दौरान परिसर वंस मोर और तालियों के शोर से गूंजता रहा। पुरातन छात्र -छात्राओं ने भी जमकर ठुमके लगाए और तालियों की करतल ध्वनि से वैभव की हौंसला अफजाई की। पुरातन छात्रों ने पुराने दिनों की स्मृतियां साझा करते हुए उन्हें आमंत्रित किए जाने पर आईआईएमटी  का आभार प्रकट किया। 
पुरातन छात्रों को संबोधित करते हुए कुलाधिपति  योगेश मोहनजी गुप्ता ने कहा कि जीवन में सफलता पाने के लिए निगाह लक्ष्य पर होनी चाहिए। मेरा पूरा जीवन काॅलेज को समर्पित रहा। आगे बढ़ने और कुछ बनने की सीख मुझे यहीं से मिली। आज मुझे गर्व है कि इस महाविद्यालय से निकले लोग पूरे विश्व की सेवा कर रहे हैं। माॅल रोड स्थित दो कमरों के संस्थान से चलकर आज आईआईएमटी समूह उत्तर भारत का जाना-पहचाना नाम है। आईआईएमटी समूह के विभिन्न काॅलेज को मिलाकर विश्वविद्यालय का दर्जा मिलना गर्व की बात है। सभी छात्रों ने श्री योगेश मोहनजी गुप्ता का करतल ध्वनि के साथ आभार व्यक्त किया।
प्रति कुलाधिपति डा0 मयंक अग्रवाल ने कहा कि आईआईएमटी आज यदि एक ब्रांड है तो उसमें छात्रों की भी महती भूमिका है। काॅलेज का विजन छात्रों के कठिन परिश्रम और ईमानदार प्रयासों पर निर्भर करता है। पुरातन छात्र काॅलेज का प्रतिबिंब होते हैं, जिन्हें देखकर उस काॅलेज की गुणवत्ता और वास्तविकता का आसानी से अंदाजा लगाया जा सकता है। उन्होंने कहा कि जो सम्बन्ध एक बार बन जाता है उसे निरन्तर निभाना भारतीय संस्कृति का प्रतीक है। आज जो पुरातन छात्र समूह यहाँ एकत्रित है वह इसी को प्रतिबिम्बित करता है। 
कुलाधिपति श्री योगेश मोहनजी गुप्ता द्वारा पुरातन छात्रों को उपहार और भेंट देकर सम्मानित किया गया। पुरातन छात्रों ने इस दिन को यादगार बताया। अगले साल फिर आने के वादे के साथ पुरातन छात्रों के ग्रुप एक दूसरे से विदा हुए। 
आईआईएमटी विश्वविद्यालय प्रति कुलपति डा0 एसके शर्मा, पीडीडीयूएमसी के डायरेक्टर निर्देश वशिष्ठ ने अपनी उपस्थिति से कार्यक्रम की शोभा बढ़ाई। कार्यक्रम का संचालन डा0 वत्सला तोमर ने किया। आशा यादव ने निर्णायक की भूमिका निभाई। कार्यक्रम आयोजन में निदेशक प्रशासन डा0 संदीप कुमार, डा0 पूजा शर्मा, डा0 सुगंधा श्रोतिय, शीना अग्रवाल, ऐश्वर्या सक्सेना, मंजीता शर्मा, पीयूष गुप्ता, अबिनाश सिंह चिब, ज्ञानप्रकाश सभी विभागों के संकाय अध्यक्ष और विभागाध्यक्ष के अलावा सभी शिक्षकों और हजारों की तादात में विद्यार्थियों ने रंगारंग जश्न की रात को सफल बनाने में सहयोग दिया।

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