विश्व स्वास्थ्य दिवस पर आईआईएमटी के छात्रों को दिया सेहत का संदेश

- जिला टीकाकरण अधिकारी ने समझाई टीके की अहमियत

मेरठ। हमारे देश और उत्तर प्रदेश की स्वास्थ्य व्यवस्था किसी भी बीमारी का सामना करने में सक्षम है। मगर इन योजनाओं की जानकारी रखना भी जरुरी होता है। खासकर टीकाकरण के बारे में गैर जिम्मेदार रवैय्या नवजात और छोटे बच्चों के स्वास्थ्य और आने वाली पीढ़ी की सेहत पर गहरा और चिंताजनक असर डालता है। महिला के गर्भवती होने के साथ ही टीकाकरण शुरु हो जाता है और बच्चों के 16 साल की उम्र में आखिरी टीका लगाया जाता है। जनसंचार एवं फिल्म एंड टेलीविजन स्टडीज विभाग में छात्रों को संबोधित करते हुए जिला टीकाकरण अधिकारी (डीआईओ) डॉ प्रवीण कुमार गौतम ने ये विचार रखे।

आईआईएमटी विश्वविद्यालय में जनसंचार एवं फिल्म एंड टेलीविजन स्टडीज विभाग में विश्व स्वास्थ्य दिवस पर जिला चिकित्सा विभाग के वरिष्ठ अधिकारियों के विशेष व्याख्यान का आयोजन किया गया। कार्यक्रम के मुख्य अतिथि डॉ प्रवीण कुमार गौतम ने बताया कि भारत में एक साल से ज्यादा बच्चों की सबसे ज्यादा मौतें सिर्फ डायरिया और न्यूमोनिया के कारण ही होती हैं। अगर बच्चों को वक्त रहते टीका लगवाया जाए तो इन भयावह बीमारियों से बच्चों को बचाया जा सकता है। हालांकि पांच साल तक के बच्चे को लगभग 18 हजार रुपए के टीके लगाए जाते हैं मगर ये स्वास्थ्य विभाग की ओर से पूरी तरह निशुल्क लगवाए जाते हैं। स्वास्थ्य विभाग इन टीकों की देखरेख से लेकर इनके रखरखाव पर भारी खर्चा करता है। मगर जनता को भी बच्चों को वक्त रहते टीकाकरण करवाना बेहद जरूरी है।

गंभीर बीमारियों से बचाने के लिए टीकों की कोल्ड स्टोरेज मैनेजमेंट देखने वाले सचिन कुमार ने छात्रों को समझाया कि बच्चों की एक-एक दवाई को बेहद सटीक तापमान में ही स्टोर किया जाता है और इसके लिए पूरी सरकारी मशीनरी और कर्मचारी अपना सर्वश्रेष्ठ देने के लिए तत्पर है। उन्होंने पावर प्वाइंट प्रेजेंटेशन के जरिए कोल्ड स्टोरेज की प्रक्रिया को छात्रों को समझाया। आईआईएमटी लाइफलाइन अस्पताल के डिप्टी एडमिन ऑफिसर राजीव शर्मा ने बताया कि छात्रों को सेहत बरकरार रखने के लिए स्वस्थ आदतों को अपना लेना चाहिए।

जनसंचार एवं फिल्म एंड टेलीविजन स्टडीज विभाग के डीन डॉ सुभाष चंद्र थलेड़ी ने मेहमान स्वास्थ्य अधिकारियों का प्रतीक चिन्ह के साथ सम्मान करते हुए कार्यक्रम में आने के लिए आभार जताया। विभाग के वरिष्ठ शिक्षक डॉ नरेंद्र कुमार मिश्रा, एचओडी विशाल शर्मा, डॉ विवेक सिंह, सचिन गोस्वामी, पृथ्वी सेंगर और निशांत सागर ने कार्यक्रम को सफल बनाने में सहयोग किया। कार्यक्रम का संचालन विभोर गौड़ ने किया। जनसंचार एवं फिल्म एंड टेलीविजन स्टडीज के अलावा नर्सिंग विभाग के विद्यार्थियों ने भी इस विशेष व्याख्यान में हिस्सा लिया।

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