नोएडा, 9 जून 2021 । प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना (पीएमएमवीवाई) की ताजा रैंकिंग में जिला गौतमबुद्ध नगर प्रदेश में पांचवें स्थान पर आया है। ऐसे समय में जब कोरोना के चलते स्वास्थ्य संबंधी ज्यादातर योजनाएं स्थगित चल रहीं थी उस दौरान जनपद में पीएमएमवीवाई का लाभ दिया गया। अप्रैल माह में 560 फार्म व मई माह में 159 फार्म भरे गये।
योजना के नोडल अधिकारी एवं अपर मुख्य चिकित्सा अधिकारी डा. भारत भूषण ने कहा कि कोरोना काल में जहां लोगों को रोजगार संबंधी और अन्य दिक्कतें आ रही हैं ऐसे में गर्भवती को योजना का लाभ दिया जाना काफी महत्वपूर्ण है। उन्होंने कहा कोरोना काल में भी पीएमएमवीवाई का काम नहीं रुका। योजना के तहत अप्रैल माह में 560 फार्म व मई माह में 159 फार्म भरे गये। योजना की ताजा रैंकिंग में जिला गौतमबुद्ध नगर प्रदेश में पांचवें स्थान पर आया है। योजना की जानकारी देते हुए नोडल अधिकारी ने बताया-योजना के तहत पहली बार गर्भवती होने वाली महिला को तीन किश्तों में 5000 रुपये की धनराशि दी जाती है, चाहे प्रसव सरकारी या निजी अस्पताल में कराया हो। पंजीकरण के लिए माता-पिता का आधार कार्ड, मां की बैंक पासबुक की फोटो कापी जरूरी है। मां का बैंक अकाउंट ज्वाइंट नहीं होना चाहिये। निजी अकाउंट ही मान्य होगा। यदि बच्चे का जन्म हो चुका है तो मां और बच्चे दोनों के टीकाकरण का प्रामाणिक पर्चा होना जरूरी है। उन्होंने बताया पंजीकरण कराने के साथ ही गर्भवती को प्रथम किश्त के रूप में 1000 रुपये दिए जाते हैं। प्रसव पूर्व कम से कम एक जाँच होने पर (गर्भावस्था के छह माह बाद) दूसरी किश्त के रूप में 2000 रुपये और बच्चे के जन्म का पंजीकरण होने और बच्चे के प्रथम चक्र का टीकाकरण पूरा होने पर तीसरी किश्त के रूप में 2000 रुपये दिए जाते हैं। यह सभी भुगतान गर्भवती के बैंक खाते में ही किये जाते हैं। उन्होंने बताया जो महिलाए सरकारी नौकरी में हैं अथवा किसी बहुराष्ट्रीय कंपनी में मातृत्व लाभ ले रहीं हैं, को छोड़कर सभी घरेलू व असंगठित क्षेत्र की कामगार महिलाओं को योजना का लाभ दिया जाता है।
डा. भारत भूषण ने बताया योजना पूरी तरह से निशुल्क है। योजना का लाभ लेने के लिए किसी को भी कोई शुल्क नहीं देना होता। उन्होंने योजना के लाभार्थियों से फर्जी फोन कॉल से सतर्क रहने की अपील की है। उन्होंने बताया कुछ जालसाज योजना के नाम पर फोन कर लाभार्थियों के बैंक अकाउंट संबंधित जानकारी लेकर उनके साथ आर्थिक धोखाधड़ी करने का प्रयास करते हैं। उन्होंने बताया योजना का कोई भी प्रतिनिधि लाभार्थी से ओटीपी नहीं पूछता है और न ही सवेंदनशील सूचनायें मांगता है, यदि ऐसा होता है तो वह पीएमएमवीवाई प्रतिनिधि नहीं है उसे कोई सूचना न दें। राज्य स्तर से हेल्प लाइन नंबर 7998799804 जारी किया गया है। इस हेल्प लाइन नंबर पर लाभार्थी स्वयं ही कॉल करके योजना के आवेदन संबंधी तथा भुगतान न होने पर आ रही समस्या का निराकरण प्राप्त कर सकते हैं।
योजना के जिला कार्यक्रम समन्वयक पारस गुप्ता ने बताया योजना का 92 प्रतिशत लक्ष्य पूरा किया जा चुका है। सन् 2017 से अब तक (मई 2021) निर्धारित लक्ष्य 39445 के सापेक्ष 36161 लाभार्थियों को योजना में शामिल किया जा चुका है।  उन्होंने बताया ऑनलाइन आवेदन के लिए लाभार्थी www. Pmmvy-cas.nic.in  पर लॉगिन कर सकते हैं।
योजना संबंधी सभी जानकारी के लिए योजना के जिला कार्यक्रम समन्वयक पारस गुप्ता और जिला कार्यक्रम सहायक अदित करण से मुख्य चिकित्सा अधिकारी कार्यालय के ब्लाक नंबर तीन के कमरा नंबर आठ में संपर्क किया जा सकता है।

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