वेंक्टेश्वरा को (यूजीसी) से सत्र 2020-21 के लिए फिर मिली दूरस्थ शिक्षा पाठ्यक्रमों की अनुमति
मेरठ। दिल्ली-रूडकी बाईपास स्थित वेंक्टेश्वरा संस्थान को जुलाई 2020-21 के लिए दूरस्थ शिक्षा के आधा दर्जन पाठ्यक्रमोंके लिए शिक्षा मंत्रालय भारत सरकार के आयोग यूजीसी का अनुमोदन मिल गया है। यह उपलब्धि हासिल करने वाला वेंक्टेश्वरा देश का बत्तीस वां (32 वां) एवं उत्तर प्रदेश का चौथा विवि बन गया है। इस आशय की जानकारी गुरूवार को शिक्षा मंत्रालय भारत सरकार से अनुमोदन पत्र मिलने पर आयोजित कार्यक्रम में विवि के कुलाधिपति डॉ सुधीर गिरि एवं प्रतिकुलाधिपति डॉ राजीव त्यागी ने संयुक्त रूप से दी। जुलाई 2020-21 से दूरस्थ शिक्षा के बीए, एमए, बीकॉम, एमकॉम, बीबीए, एमबीए समेत आधा दर्जन पाठ्यक्रम मिलने से विवि में खुशी की लहर है।

संस्थान के डॉ सीवी रमन केन्द्रीय कॉन्फ्रेस हॉल में आयोजित कार्यक्रम का शुभारम्भ वेंक्टेश्वरा समूह के चेयरमैन डॉ सुधीर गिरि एवं प्रतिकुलाधिपति डॉ राजीव त्यागी ने सरस्वती माँ की प्रतिमा के सन्मुख दीप प्रज्जवलित करके किया।
अपने सम्बोधन में वेंक्टेश्वरा समूह के चेयरमैन डॉ सुधीर गिरि ने कहा कि पिछले एक दशक से लगातार गुणवत्तापूर्ण रोजगारपरक शिक्षा देने एवं भारत सरकार के कडे मानको पर खरा उतरते हुए देश के टॉप 32 विश्वविद्यालयं के साथ वेंक्टेश्वरा को ये ऐतिहासिक उपलब्धि मिली है। हम अध्यनरत छात्र-छात्राओं को एक सम्मानित एवं सशक्त कैरियर देने के लिए प्रतिबद्ध है। हमारा लक्ष्य 2025 तक टॉप 10 विश्वविद्यालयों की सूची में शुुमार कराना है। विवि के प्रतिकुलाधिपति डॉ राजीव त्यागी ने कहा कि राष्ट्रीय एवं अन्तर्राष्ट्रीय जरुरतों के मुताबिक ट्रैड प्रोफेशनल्स तैयार कर रहा है। देश के अन्तिम छोर अन्तोदय तक सस्ती, सुलभ, रोजगारपरक शिक्षा की पहुंच सुनिश्चित हो सके। इस दिशा में विश्वविद्यालय लगातार काम कर रहा है।
इस अवसर पर कुलपति प्रो (डॉ) पीके भारती, कुलसचिव डॉ पीयूष पाण्डेय, डॉ नरोत्तम राव, डॉ सुशील शर्मा, डॉ सुरेश चुन्नी लाल, डॉ राजेश सिंह, डॉ0 सीपी कुशवहा, प्रदीप कुमार, मारूफ चौधरी, डॉ संजीव सक्सेना, डॉ स्मृति श्रीवास्तव, अंजलि शर्मा, मीडिया प्रभारी विश्वास राणा आदि उपस्थित रहे।
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