शहीद इंस्पेक्टर की शोक सभा में बिलख पड़े परिजन
भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष भूपेंद्र चौधरी समेत तमाम गणमान्य लोगों ने दी सुनील कुमार को श्रद्धांजलि
मेरठ। बुधवार को इंचौली के मसूरी गांव में शहीद हुए एसटीएफ के सुनील कुमार की शोक सभा में बड़ी संख्या में लोग शामिल हुए । श्रद्धांजलि देते हुए परिजन फफक पड़े। बड़ी संख्या में लोग शोक सभा में शामिल हुए। भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष भूपेंद्र चौधरी, क्षेत्रीय अध्यक्ष सतेंद्र सिसोदिया, बागपत लोकसभा क्षेत्र से रालोद के सांसद डॉ. राजकुमार सांगवान, भाजपा जिलाध्यक्ष शिव कुमार राणा, महानगर अध्यक्ष सुरेश जैन ऋतुराज, अजीत चौधरी, सतेंद्र भराला समेत बड़ी संख्या में लोगों ने परिजनों को सांत्वना देते हुए कहा कि सुनील की कुर्बानी खाली नहीं जाएगी। वह एक जाबांज इंस्पेक्टर थे।
इंस्पेक्टर सुनील मेरठ में इंचौली के मसूरी गांव के रहने वाले थे। उनके पिता चरण सिंह का निधन हो चुका है। 80 वर्षीय माता अतरकली हैं। बड़े भाई अनिल काकरान गांव में खेती करते हैं। परिवार में पत्नी मुनेश, बेटा मंजीत उर्फ मोनू, और बेटी नेहा हैं औैर 6 महीने का पोता है। दोनों बच्चों की शादी हो चुकी है। 20 जनवरी की रात सुनील कुमार और उनकी टीम ने शामली में कग्गा गैंग के 4 बदमाशों अरशद, मंजीत उर्फ ढिल्ला, सतीश और मनवीर का एनकाउंटर किया था। मुठभेड़ में इंस्पेक्टर के पेट में दो गोली लगी थी।1 सितंबर, 1990 को यूपी पुलिस में सिपाही पद पर भर्ती हुए थे। स्पेशल टास्क फोर्स (STF) का गठन होने के बाद उन्होंने 1997 में मानेसर, हरियाणा में कमांडो कोर्स किया। 1 जनवरी, 2009 को सुनील ने STF जॉइन किया। 16 साल से वह STF में ही थे।
2008 में 5 लाख के इनामी बदमाश अंबिका पटेल उर्फ ठोकिया और 50 हजार के इनामी उमर केवट को पुलिस मुठभेड़ के दौरान मार गिराया।
2012-13 में मेरठ यूनिट में रहते हुए 1-1 लाख के इनामी सुशील उर्फ मूंछ, बदन सिंह उर्फ बद्दो और भूपेंद्र बाफर को गिरफ्तार कर जेल भेजा।
24 जून, 2019 को सवा लाख रुपए के इनामी अपराधी आदेश बालियान निवासी भौरा कलां को मुठभेड़ में ढेर किया।
04 मई, 2023 को मेरठ के थाना जानी क्षेत्र में एसटीएफ टीम के साथ हुई मुठभेड़ में गैंगस्टर अनिल नागर उर्फ अनिल दुजाना को मार गिराया।
14 दिसंबर, 2024 को एसटीएफ और स्पेशल सेल दिल्ली की संयुक्त टीम ने मेरठ के टीपी नगर थाना क्षेत्र में हाशिम बाबा गैंग के शूटर 50 हजार के इनामी अनिल उर्फ सोनू उर्फ मटका को मार गिराया। इस मुठभेड़ में भी सुनील कुमार का खास योगदान रहा।
2 किमी पीछा किया, 40 मिनट में 50 राउंड फायरिंग
इंस्पेक्टर सुनील कुमार अपनी टीम के साथ सोमवार की रात करीब डेढ़ बजे चौसाना रोड पर घेराबंदी किए थे। उन्हें अरशद के मूवमेंट की टिप मिली थी। रात करीब 2 बजे हरियाणा की तरफ से सफेद रंग की ब्रेजा कार आती दिखाई दी। पुलिस टीम ने टार्च की रोशनी से गाड़ी रोकने का इशारा किया।
पुलिस से करीब 150 मीटर पहले ड्राइवर ने गाड़ी रोक दी। गाड़ी में मौजूद अरशद ने ड्राइविंग सीट पर बैठे सतीश से कहा- पुलिस का घेरा है। जितनी जल्दी हो सके...गाड़ी भगा लो। इसके बाद सतीश ने स्टेयरिंग घुमाकर गाड़ी चौसाना की तरफ दौड़ा दी। इंस्पेक्टर सुनील कुमार ने भी पुलिस टीम के साथ पीछा करना शुरू किया। अरशद आगे-आगे, पुलिस पीछे-पीछे थी। 2 Km तक लुकाछिपी का खेल चलता रहा। उदपुर भट्टे के पास रोड एक तरफ मुड़ी थी। बदमाश यहां तक पहुंचे, मगर रास्ता आगे बंद था। इसी बीच अरशद और बाकी बदमाशों ने अंधाधुंध फायरिंग शुरू कर दी। कुछ गोलियां सुनील की गाड़ी पर आकर लगीं। पुलिस ने भी बदमाशों की तरफ गोलियां चलाई। दो गोली इंस्पेक्टर सुनील के पेट में आकर धंस गई। वह लहूलुहान होकर गिर पड़े। जिसके बाद टीम ने चारों बदमाशों सहारनपुर निवासी अरशद, हरियाणा सोनीपत निवासी सतीश, करनाल निवासी मंजीत उर्फ ढिल्ला और करनाल निवासी मनबीर को मौके पर ही ढेर कर दिया था।
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