केंद्र नेउल्फा पर पांच साल बढ़ाया प्रतिबंध
नयी दिल्ली,एजेंसी। केंद्र सरकार ने यूनाइटेड लिबरेशन फ्रंट ऑफ असम (उल्फा) पर प्रतिबंध पांच साल के लिए बढ़ा दिया है। मंत्रालय ने एक अधिसूचना में कहा कि उल्फा अपने सभी गुटों, शाखाओं और संगठनों के साथ ऐसी गतिविधियों में शामिल रहा है, जो भारत की संप्रभुता और अखंडता के लिए खतरा हैं।
असम को भारत से अलग करने के उद्देश्य से काम करने के साथ ही बरन वसूली और हिंसा के लिए उग्रवादी समूहों के साथ संबंध बनाए रखने की वजह से यूनाइटेड लिबरेशन फ्रंट ऑफ असम (उल्फा) केंद्र सरकार ने बड़ा एक्शन लिया है। सरकार ने सोमवार 25 नवंबर को उल्फा पर लगे प्रतिबंध को और पांच साल के लिए बढ़ा दिया है।
उल्फा को पहली बार 1990 में प्रतिबंधित संगठन घोषित किया गया था और तब से प्रतिबंध को समय-समय पर बढ़ाया जाता रहा है। ऐसे में एक बार फिर से प्रतिबंध को पांच साल के लिए बढ़ाने का फैसला किया गया है। केंद्र का ये फैसला उल्फा संगठन के लिए एक बड़ा झटका माना जा रहा है।
असम को भारत से अलग करना मकसद
केंद्रीय गृह मंत्रालय ने एक अधिसूचना में कहा है कि उल्फा अपने सभी गुटों, शाखाओं और संगठनों के साथ ऐसी गतिविधियों में शामिल रहा है, जो भारत की संप्रभुता और अखंडता के लिए खतरा हैं. इसमें कहा गया है कि उल्फा ने असम को भारत से अलग करने के अपने उद्देश्य की घोषणा की है, अपने संगठन के लिए लगातार धन की उगाही कर रहा है और जबरन वसूली और हिंसा के लिए उग्रवादी समूहों के साथ संबंध बनाए हुए है। अधिसूचना के मुताबिक,उल्फा के पास अवैध हथियार और गोला-बारूद है और उसके खिलाफ 27 नवंबर, 2019 से 1 जुलाई, 2024 की अवधि के दौरान असम में विस्फोट या विस्फोटक लगाने के कई मामलों सहित 16 आपराधिक मामले हैं।
63 कार्यकर्ताओं ने आत्मसमर्पण किया
मंत्रालय का कहना है कि बीते पांच सालों के दौरान पुलिस या सुरक्षा बल की कार्रवाई में उल्फा के तीन कार्यकर्ता मारे गए। इसके कार्यकर्ताओं के खिलाफ 15 मामले दर्ज किए गए, तीन आरोपपत्र दायर किए गए और तीन कार्यकर्ताओं पर मुकदमा चलाया गया। उल्फा 27 अन्य आपराधिक गतिविधियों में शामिल था, इसके 56 कार्यकर्ताओं को गिरफ्तार किया गया और 63 कार्यकर्ताओं ने आत्मसमर्पण किया है. मंत्रालय ने कहा कि उल्फा के सदस्यों के पास से 27 हथियार, 550 राउंड, नौ ग्रेनेड और 2 विस्फोटक उपकरण बरामद किए गए।
पांच साल के लिए गैरकानूनी संगठन घोषित
असम सरकार ने गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम, 1967 (1967 का 37) के प्रावधानों के तहत उल्फा को गैरकानूनी संगठन घोषित करने की भी सिफारिश की है। अधिसूचना में कहा गया है, अब गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम, 1967 (1967 का 37) की धारा 3 की उपधारा (1) द्वारा प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए, केंद्र सरकार उल्फा को उसके सभी गुटों, शाखाओं और अग्रणी संगठनों के साथ 27 नवंबर, 2024 से पांच साल के लिए गैरकानूनी संगठन घोषित करती है।
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