फ़र्ज़ी चार्जबैक करने वाले धोखेबाज़ों के खिलाफ फोनपे की कार्रवाई
गाजियाबाद। आज डिजिटल और कार्ड ट्रांजेक्शन का काफी इस्तेमाल किया जा रहा है, जिसके चलते धोखाधड़ी का खतरा भी बहुत बढ़ गया है, ऐसे मामलों में फिनटेक कंपनियों को जल्द से जल्द कदम उठाने की ज़रूरत है।

 प्रमुख फिनटेक कंपनी फोनपे ने हाल ही में एक बड़ा खुलासा किया है, जिसमें फ़र्ज़ी चार्जबैक करके फोनपे के साथ धोखाधड़ी करने के मामले सामने आए हैं।ऐसा खासतौर पश्चिमी राजस्थान और एनसीआर क्षेत्रों में ज़्यादा देखने को मिला है। ऐसे ही एक मामले में फोनपे ने सख्त कदम उठाए हैं और अलका रानी और उनके साथियों के खिलाफ चार्जबैक सिस्टम का गलत इस्तेमाल करने और धोखाधड़ी करने के लिए शिकायत दर्ज कराई है। औपचारिक रूप से यह शिकायत 24 मार्च, 2024 को गाज़ियाबाद के साइबर सेल कोतवाली घंटाघर में दर्ज कराई गई थी। इस घटना के बारे में बात करते हुए फोनपे के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा फोनपे धोखाधड़ी के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने के लिए प्रतिबद्ध है। हमने इस फर्ज़ीवाड़े में शामिल सभी लोगों के खिलाफ उचित कानूनी कार्रवाई करने का फैसला किया है। अलका रानी के मामले में फोनपे के ज़रिए उठाया गया यह कदम ऐसे फ़र्ज़ीवाड़ों के खिलाफ एक शुरुआत है। धोखेबाज़ों को उनकी करनी की सज़ा दिलाने के लिए हम हर संभव कदम उठाएँगे।अलका रानी ने खुद को एक वैध बिजनेस मर्चेंट बताकर पॉइन्ट ऑफ़ सेल डिवाइस प्राप्त किया यह फोनपे प्लेटफॉर्म पर मर्चेंट को दिया जाने वाला प्रोडक्ट है पेमेंट प्लेटफॉर्म के साथ धोखेबाज़ी करने के इरादे से उसने पीओएस डिवाइस का इस्तेमाल करके फ़र्ज़ी कार्ड ट्रांजेक्शन किएऔर बाद में कई कार्ड नेटवर्क के चार्जबैक मकनिज़्म में हेराफेरी की। फोनपे ने अपने डेटा पर आधारित एडवांस टूल और ट्रांजेक्शन मॉनिटरिंग मॉडल का उपयोग करके जल्द ही इन फ़र्ज़ी ट्रांजेक्शन की पहचान कर ली। फोनपे ने तुरंत कदम उठाते हुए अलका रानी और उनके साथियों के खिलाफ कानून की संबंधित धाराओं के तहत पुलिस शिकायत दर्ज कराई। इसके बाद, इंस्पेक्टर संतोष तिवारी और सब-इंस्पेक्टर सुमित कुमार ने जल्द से जल्द अच्छी तरह से जाँच-पड़ताल की और इसकी वजह से अपराधियों की पहचान कर ली गई और इस मामले में आगे की जाँच जारी है।

No comments:

Post a Comment

Popular Posts