घर -घर कुष्ठ रोगी खोजी अभियान 21 दिसम्बर से 4 जनवरी  2024 तक

 मेरठ समेत प्रदेश के 42  जिलों में पल्स पाेलियाे की तरह  चलाया जाएगा  कुष्ठ रोगी खोजी अभियान

 सीएमओ कार्यालय में अभियान से जुडे चिकित्साअधिकारियों को  दो दिवसीय  ट्रेनिंग का आयोजन 

 मेरठ। समाज में छिपे हुए कुष्ठ रोगियों को खोज निकालने के लिए आगामी 21  दिसम्बर से  4  जनवरी 2024 तक अभियान मेरठ समेत 42 जनपदों में एक साथ चलाया जाएगा। इस दौरान एक -एक टीम 15 से  20  घरों का सर्वे की कुष्ठ रोगी खोजेगी। कुष्ठ रोग से पीडित मरीजों को उपचार कराया जाएगा। अभियान के तहत सीएमओ कार्यालय में अभियान से जुडे सीएचसी के चिकित्सकों एवं बीसीपीएम  को 2 दिवसीय ट्रेर्निग कार्यक्रम का आयोजन किया गया है । जिसमें कार्यक्रम के नोडल अधिकारी डा. के सी तिवारी ने कार्यक्रम में जुडे विषयों के बारे में जानकारी दी।

 ट्रेनिंग का आयोजन सीएमओ कार्यालय में आयोजित किया गया। जिसमें 12 ब्लॉक के एमओआईसी व बीसीपीएम  व कुष्ठ विभाग के अधिकारियों ने शिरकत की। एमओआईसी को ट्रेनिंग देते हुए नोडल अधिकारी डा केसी तिवारी ने बताया कहा कि 14 दिन चलने वाले अभियान के तहत शहरी व ग्रामीण क्षेत्र में लगभग तीन हजार टीमों को लगाया जाएगा । शहरी क्षेत्र में  आंगनवाडी व एक पुरूष व ग्रामीण क्षेत्र में एक आशा के साथ एक पुरूष को टीम रखा जाएगा। ग्रामीण क्षेत्र में घर-घर सर्वे करने वाली टीम 15 से 20 घरों का सर्वे  व शहरी क्षेत्र में सर्वे टीम  20 से 25 घरों  का सर्वे करें। अभियान को पल्स पोलियों अभियान की तरह चलाया जाए। सर्वे टीम के पास उस क्षेत्र का मानचित्र आवश्यक हो जिसमें वह सर्वे करने के लिए जा रहे है। सर्वे के दौरान कोई भी घर न छोडा जाए। अगर घर में कोई नहीं है या आने की संभावना है उस पर क्रास का  निशान लगाए। अभियान में जिस घर में सर्वे टीम जाएं वहां पर कुष्ठ रोग के बारे में जानकारी आवश्यक दी जाए। कुष्ठ रोगी मिलने पर उसकी दो पर्ची बनाए एक अपने पास रखे दूसरी कुष्ठ रोगी को दे। अभियान काे सफल बनाने के लिए सामाजिक कार्यकत्ताओं ,ग्राम प्रधान, सरपंच, स्थानीय जनप्रतिनिधि के साथ बैठक कर अगर कही भी परेशानी आ रही है तो उनका सहयोग ले। टीमें प्रतिदिन अपनी रिपोर्ट चिकित्सा अधिकारी को दे।  इस मौके पर विभाग के एनएमएस वाई पी सिंह , एनएमए धमेन्द्र सिंह   मौजूद रहे। 

 नोडल अधिकारी ने बताया इस वित्तीय वर्ष में अब तक 118 कुष्ठ रोगी मिले है । पिछले साल 136 रोगी मिली। वित्तीय वर्ष 21-22 में 205 रोगी मिले। उन्होंने बताया ऐसे कुष्ठ रोगी जिनके विकलांगता होने का खतरा  है उनको  आपरेशन की आवश्यकता है उन्हें सरकार की ओर से 12 हजार रूपये सहायता के रूप में तीन किस्तों में पैसे मिलते है। जिसमे प्रथम किस्त के रूप में चार हजार व दूसरे व तीसरी किस्त मरीज के फालोअप के रूप में चार-चार हजार रूपये मिलते है। उन्होंने बताया कुष्ठ होने पर रोगी को घबराने की आवश्यकता नहीं है। इसका ससमय रहते उपचार संभव है। भारत सरकार का उददेश्य है कुष्ठ को इतिहास बनाना है। 

 


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