दहशत का माहौल खत्म
आखिर पकड़ा गया तेंदुआ, नौ घंटे तक मचा रहा आतंकखौफनाक था सुबह का नजारा, स्कूलों में अलर्ट
मेरठ।मेरठ के मोदीपुरम में करीब नौ घंटे बाद तेंदुए को पकड़ लिया गया है। पुलिस और वन विभाग की टीम ने करीब नौ घंटे बाद तेंदुए को पकड़ लिया है। तेंदुए के पकड़े जाने के बाद ही लोगों ने राहत की सांस ली।
शुक्रवार सुबह दुल्हैड़ा गांव की ओर से होता हुआ एक तेंदुआ पल्लवपुरम के क्यू पॉकेट के मकान नंबर 72 में घुस गया था। जिससे परिवार में हड़कंप मच गया था। इस दौरान पुलिस व भीड़ इकट्ठा हो गई।
मकान मालिक स्वप्निल ने बताया कि जोरदार आवाज आने पर उन्होंने खिड़की से बाहर झांक कर देखा था तो उन्हें तेंदुआ दिखाई दिया। इसके बाद पुलिस ने उन्हें बाहर आने से मना किया। उनके अलावा उनकी पत्नी प्रीति शर्मा, माता आभा शर्मा, भाभी और दो बच्चे घर में बंद रहे।
वहीं पुलिस ने वन विभाग को मामले की जानकारी दी है। एक घंटे बाद भी टीम मौके पर नहीं पहुंची। तेंदुए को सबसे पहले डॉ राजकुमार चौधरी ने भागते हुए देखा था। उन्हीं के शोर मचाने पर भीड़ एकत्रित हुई और तेंदुआ स्वप्निल के घर में घुस गया।
पहले तेंदुआ मकान में बंद था। यहां जाल लगाकर उसे कैद करने की कोशिश की गई। तेंदुआ जाल में फंस भी गया था लेकिन कुछ ही देर बाद वह जाल से निकलकर एक खाली प्लॉट में जा पहुंचा। इस दौरान तकरीबन 400 मीटर तक तेंदुआ दौड़ता रहा।
हालांकि आसपास मौजूद भीड़ पर उसने हमला नहीं किया। तेंदुआ केवल अपनी जान बचाने के लिए दौड़ता रहा। अब फिर से तेंदुए को पकड़ने के प्रयास किए जा रहे हैं। वन विभाग ने तेंदुए के पास प्लॉट में एक ही जाल लगाया लेकिन अब दूसरा जाल मंगवाया गया है।
बताया गया कि प्लॉट में ही तेंदुआ बैठा हुआ है। यदि वहीं पर उसे गन लग जाती तो उसे पकड़ लिया जाता। अब पल्लवपुरम फेज 2 मुख्य डिवाइडर रोड के पास एक प्लॉट जो खाली है उसमें तेंदुआ बैठा हुआ था, दोबारा से उसकी घेराबंदी करते हुए पकड़ लिया गया।
पल्लवपुरम फेज वन यू-पॉकेट स्थित एमआईईटी पब्लिक स्कूल के बाहर मेन गेट पर तैनात सिक्योरिटी गार्ड अजीत ने लगभग सुबह 8:00 बजे तेंदुए को स्कूल के मेन गेट के सामने से भागते हुए देखा और तेंदुआ सामने स्कूल के झाड़ियों में छुप गया।
जानकारी तुरंत स्कूल के मीडिया प्रभारी अजय चौधरी को दी गई अजय चौधरी ने तुरंत पल्लवपुरम थानाध्यक्ष से बात कर एवं वन विभाग की टीम को फोन करके जानकारी दी, जिसके लगभग आधे घंटे बाद वहां पर टीम पहुंच और तेंदुए को ढूंढने का और पकड़ने का सर्च अभियान शुरू हुआ। इन सभी के मद्देनजर स्कूल प्रशासन ने सुबह 8:00 बजे व्हाट्सएप मैसेज और फोन द्वारा सभी अभिभावकों को छुट्टी की सूचना दी, जिस वजह से स्कूल में आज बच्चे नहीं आ पाए और छुट्टी कर दी गई।
संसाधनों के अभाव में हर बार फेल होता है वन विभाग
तमाम दावों के बावजूद जब भी शहर में तेंदुआ आया, वन विभाग उसे पकड़ने में फेल साबित हुआ। संसाधनों के अभाव में तेंदुआ वन विभाग को धता बताकर लोगों की जान के लिए खतरा बनता रहा। 2018 में सदर स्थित लकड़ी की टाल में आया तेंदुआ वन कर्मियों की पकड़ में नहीं आया था और कई लोगों को घायल करते हुए कैंटोनमेंट अस्पताल में छिप गया था। घंटो की मशक्कत के बाद यहां से भी ऑपरेशन थिएटर का शीशा तोड़कर भाग गया था।
पल्लवपुरम में आज वन विभाग कर्मी केवल एक जाल लेकर पहुंचे। उनके पास न कोई दूसरा जाल था और न ही उसे बेहोश करने के लिए ट्रेंकुलाइजर गन थी। करीब दस मिनट तक जाल में फंसे होने के बाद भी तेंदुआ घर से निकलकर डिवाइडर रोड पर एक खाली प्लाट में छिप गया। चार घंटे बाद हस्तिनापुर से अतिरिक्त जाल मंगाए गए। इसके बाद ही प्लाट को चारों तरफ से कवर किया जा सका।
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